रायपुर के बाद अब रायगढ़ में बनेगी हाईटेक नालंदा लाइब्रेरी, जानें क्या है इसकी खासियत?
छात्रों की मांग को देखते हुए सीएम विष्णु देव साय ने बड़ी घोषणा की है. रायगढ़ में हाई टेक नालंदा लाइब्रेरी बनेगी. वहीं वर्तमान में संचालित नालंदा परिसर की सुविधाओं में भी बढ़ोतरी की जाएगी
रायगढ़ : छत्तीसगढ़ में हर साल लाखों स्टूडेंट प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करते हैं, लेकिन ये छात्र सरकारी लाइब्रेरी की कमी के कारण हमेशा परेशान रहते हैं. छत्तीसगढ़ में सबसे हाई टेक लाइब्रेरी नालंदा परिसर में हमेशा हजारों छात्र वेटिंग में रहते हैं. एडमिशन के लिए छात्रों को कई महीनों का इंतजार करना पड़ता है. अब ये इंतजार खत्म होने वाला है. छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने एक और हाई टेक लाइब्रेरी बनाने का ऐलान किया है।
नालंदा परिसर की सुविधाओं में भी होगी बढ़ोतरी
छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले छात्रों के लिए सोमवार को एक बड़ी घोषणा की है. उन्होंने कहा है कि राजधानी रायपुर में नालंदा परिसर की तर्ज पर एक और नालंदा परिसर का निर्माण किया जाएगा. मुख्यमंत्री साय ने युवाओं की मांग पर यह घोषणा नालंदा परिसर में की है. मुख्यमंत्री ने कहा कि राजधानी रायपुर में नए नालंदा परिसर के निर्माण के साथ-साथ वर्तमान में संचालित नालंदा परिसर की सुविधाओं में भी बढ़ोतरी की जाएगी।
रायपुर और रायगढ़ में बनेगी हाई टेक लाइब्रेरी
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की इस घोषणा से पीएससी, यूपीएससी के साथ अलग-अलग प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे युवाओं को लाइब्रेरी के लिए भटकना नहीं पड़ेगा. क्योंकि रायपुर के साथ-साथ एक लाइब्रेरी रायगढ़ में भी बनाए जाने की तैयारी चल रही है. इसके लिए रायगढ़ विधानसभा के विधायक और कैबिनेट मंत्री ओपी चौधरी लगातार तैयारी कर रहे हैं. ओपी चौधरी जब रायपुर कलेक्टर थे तब उन्होंने ही रायपुर में हाई टेक लाइब्रेरी का निर्माण करवाया था।
रायपुर के नालंदा परिसर की क्या है खासियत?
गौरतलब है कि नालंदा परिसर में वर्तमान में ढाई हजार छात्रों के बैठने की सुविधा है. सीजी पीएससी और यूपीएससी के छात्रों के लिए लाइब्रेरी लॉन्चिंग पेड माना जाता है. प्रदेशभर से हजारों छात्र इल लाइब्रेरी में पढ़ने आते हैं. इस हाई टेक लाइब्रेरी में 50 हजार किताबों में डिजिटल चिप लगाई गई है. सदस्यता के लिए छात्रों का आरएफ आईडी कार्ड बनाया जाता है. इसी आईडी कार्ड के जरिए छात्र किताब पढ़ने के लिए निर्धारित तारीख तक अपने घर ले जा सकते हैं।
पूरे परिसर को वाई फाई फ्री जोन बनाया गया है. छात्रों को सदस्यता के समय 2500 रुपए कौशल मनी के रूप में जमा कराना होता है. इसके बाद हर महीने 500 रुपए मासिक शुल्क लगता है. वहीं बीपीएल परिवार से आने वाले छात्रों के लिए केवल 200 रुपए मासिक शुल्क देना होता है. यहां तैयारी करने वाले 200 से अधिक बच्चे सीजी पीएससी और यूपीएससी में चयनित हो चुके हैं. यहां एक साथ 1000 बच्चे बैठकर पढ़ाई कर सकते हैं।