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CG Lok Sabha Election 2024: जांजगीर में वोटों की गिनती के बाद भाजपा प्रत्याशी कमलेश जांगड़े पर 30,123 वोटों से आगे…

CG Lok Sabha Election 2024: छत्तीसगढ़ की जांजगीर लोकसभा सीट पर अब तक हुई वोटों की गिनती के बाद बीजेपी प्रत्याशी कमलेश जांगड़े 30123 वोटों से आगे..

जांजगीर, CG Lok Sabha Election 2024: छत्तीसगढ़ की जांजगीर लोकसभा सीट पर अब तक हुई वोटों की गिनती के बाद बीजेपी प्रत्याशी कमलेश जांगड़े 30123 वोटों से आगेCG Lok Sabha Election 2024: After counting of votes in Janjgir, BJP candidate Kamlesh Jangde is leading by 30,123 votes… चल रहे हैं. कमलेश जांगड़े को 1,47,485 वोट और कांग्रेस प्रत्याशी शिव कुमार डहरिया को 1,17,362 वोट मिले थे. वहीं नोटा में 961 वोट पड़े. जांजगीर लोकसभा से इस बार कुल 20 उम्मीदवार मैदान में थे. 2019 के आम चुनाव में यहां बेहद दिलचस्प चुनावी मुकाबला देखने को मिला. पिछला चुनाव बीजेपी उम्मीदवार गुहाराम अजगले ने 83,255 वोटों के अंतर से जीता था. उन्हें 5,72,790 वोट मिले. गुहाराम अजगले ने कांग्रेस उम्मीदवार रवि भारद्वाज को हराया, जिन्हें 4,89,535 वोट मिले थे.

2024 में बढ़ा मतदान प्रतिशत (CG Lok Sabha Election 2024)

7 मई को हुए तीसरे चरण के मतदान में जांजगीर लोकसभा के मतदाताओं ने उत्साहपूर्वक हिस्सा लिया. इस बार कुल 67.56 फीसदी वोट पड़े. छत्तीसगढ़ का जांजगीर-चांपा लोकसभा क्षेत्र भारत की चुनावी राजनीति में अहम स्थान रखता है. जांजगीर-चांपा की जनसांख्यिकी विविध है और यह चुनावी दृष्टिकोण से छत्तीसगढ़ के लोकसभा क्षेत्रों में दिलचस्प और महत्वपूर्ण है। पिछले 2019 लोकसभा चुनाव में इस सीट पर 65.57% वोटिंग हुई थी.

जांजगीर लोकसभा में 20 लाख 52 हजार मतदाता हैं. इनमें चंद्रपुर और बिलाईगढ़ विधानसभा में महिला मतदाताओं की संख्या अधिक है। चंद्रपुर में 1 लाख 17 हजार 599 पुरुष और 1 लाख 19 हजार 803 महिला मतदाता हैं। इसी तरह बिलाईगढ़ विधानसभा में 1 लाख 53 हजार 99 पुरुष और 1 लाख 53 हजार 579 महिला मतदाता हैं, जबकि कसडोल विधानसभा में पुरुष और महिला मतदाताओं के बीच केवल 58 का अंतर है. यहां 58 पुरुष मतदाता अधिक हैं.

1984 में जांजगीर में पहली बार खिला था कमल

1984 में जांजगीर-चांपा लोकसभा सीट पर बीजेपी ने पकड़ बनानी शुरू की. इससे पहले यह पार्टी पांच बार भारतीय जनसंघ के रूप में दूसरे स्थान पर रही थी। बीजेपी के कद्दावर नेता दिलीप सिंह जूदेव ने 1989 में पहली बार पार्टी का खाता खोला और कांग्रेस के प्रभात मिश्रा को हराया. अगली बार 1991 में कांग्रेस पार्टी के भवानी लाल वर्मा ने दिलीप सिंह जूदेव को हरा दिया. हालांकि, 1996 में मनहरण लाल पांडे और 2004 में करुणा शुक्ला ने पार्टी के लिए यह सीट जीती थी. तब से यह सीट लगातार बीजेपी के खाते में रही है.

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